Advertisement
Home Haryana Govt Scheme किसानों को मिलेंगे 7000 रुपये प्रति एकड़ धान की बुआई न करने...

किसानों को मिलेंगे 7000 रुपये प्रति एकड़ धान की बुआई न करने पर: Mera Pani-Meri Virasat Yojana

1

हरियाणा सरकार ने किसानों के लिए लॉन्च की “मेरा पानी- मेरी विरासत योजना 2020-21” (Mera Pani Meri Virasat Yojana Haryana in Hindi) खेतों में धान की बुआई नहीं करने पर किसानों को मिलेंगे 7000 रुपये प्रति एकड़ के हिसाब से प्रोत्साहन राशि . आइये जाने Mera Pani-Meri Virasat Scheme क्या है ? ऑनलाइन पंजीयन पोर्टल, जरूरी दस्तावेज, पात्रता नियम

मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर ने 06 मई 2020 को “मेरा पानी-मेरा विरासत योजना” शुरुआत की है। इस योजना के अंतर्गत राज्य के डार्क जोन में शामिल क्षेत्रों में धान की खेती छोड़ने वाले किसानों को प्रति एकड़ 7000 रूपये की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने इस योजना का शुभारम्भ करते हुए किसानों से जल संरक्षण को बढ़ावा देने की अपील करते हुए कहा की जिस प्रकार आने वाली पीढ़ी के लिए अपनी जमीन को विरासत के रूप में छोड़कर जाते हैं, उसी प्रकार पानी को भी विरासत मान कर चलें, तभी जमीन भावी पीढ़ी के लिए उपयोगी होगी।

Mera Pani Meri Virasat Yojana Haryana

Mera Pani Meri Virasat Yojana For Farmers 2020 Highlights

योजना का नाममेरा पानी – मेरी विरासत योजना 2020
राज्यहरियाणा
किसके द्वारा शुरू की गई मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल खट्टर द्वारा
लांच की तारीख6 मई, 2020
लाभार्थीराज्य के किसान
संबंधित विभागजल संरक्षण विभाग

मेरा पानी – मेरी विरासत योजना की मुख्य बातें

  • हरियाणा सरकार द्वारा शुरू की गई मेरा पानी मेरी विरासत योजना का मुख्य उद्देश्य जल का संरक्षण करना है.
  • योजना के अंतर्गत किसानों को धान की फसलों को छोड़कर अन्य वैकल्पिक फसलों की बुआई करने के लिए प्रोत्साहित किया जायेगा.
  • जो किसान धान की खेती को छोड़कर अन्य खेती करते हैं उन्हें सरकार की ओर से 7000 रूपये प्रति एकड़ के हिसाब से प्रोत्साहन राशि दी जायेगी.
  • इसके साथ सरकार ने इस योजना को शुरू करते हुए यह भी ऐलान किया है कि धान की बुवाई की अनुमति ऐसे पंचायती क्षेत्रों के किसानों को नहीं दी जाएगी, जहाँ पर भूजल की गहराई 35 मीटर से अधिक है.
  • योजना के तहत दी जाने वाली प्रोत्साहन राशि संबंधित ग्राम पंचायत को प्रदान की जाएगी.
  • धान की खेती में अत्यधिक पानी की आवश्यकता पड़ती हैं, ऐसे में यदि किसान अपने खेतों में धान की जगह पर मक्का, अरहर, उड़द, ज्वार, कपास, बाजरा, तिल और ग्रीष्म मूंग या वैसाखी मूंग की खेती करे तो इनमें पानी का खर्च कम होगा.
  • मक्का की बुवाई वाले किसानों के लिए आवश्यक कृषि उपकरणों की व्यवस्था सरकार द्वारा की जायेगी.
  • ड्रिप सिंचाई प्रणाली को अपनाने वाले किसानों को 80 % अनुदान दिया जायेगा.
  • राज्य के ऐसे ब्लॉक जहाँ पर भूजल स्तर काफी कम है उन ब्लॉकर्स के अलावा यदि अन्य ब्लॉक के किसान भी धान की बुवाई के स्थान पर अन्य फसलों की बुवाई करते हैं तो वे भी पहले से ही इसकी सूचना देकर प्रोत्साहित राशि प्राप्त करने के लिए आवेदन कर सकते हैं.

मेरा पानी – मेरी विरासत योजना के लिए पात्रता और मापदंड (Mera Pani – Meri Virasat Yojana Eligibility Criteria)

  • लाभार्थी हरियाणा का निवासी हो :- राज्य सरकार द्वारा शुरू की गई इस योजना का लाभ केवल हरियाणा का किसान ही उठा सकेगा .
  • धान की खेती करने वाले किसान :- ऐसे किसान जो पूर्व में धान की खेती करते आये हैं और वे उसे छोड़कर अन्य वैकल्पिक फसलों की बुआई करते है वो इस योजना के लिए पात्र है .
  • राज्य के ऐसे ब्लॉक जहाँ पर भूजल स्तर काफी कम है उन ब्लॉक के अलावा यदि अन्य ब्लॉक के किसान भी धान की बुवाई के स्थान पर अन्य फसलों की बुवाई करते हैं, तो वे भी पहले से ही इसकी सूचना देकर प्रोत्साहित राशि प्राप्त करने के लिए आवेदन कर सकते हैं.

ऑनलाइन फॉर्म रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया

यदि आप भी मेरा पानी – मेरी विरासत योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन करना चाहते है तो उसकी विस्तृत जानकारी आपको यहाँ नीचे प्रदान की गई है . आइये जाने की आप इसके लिए आवेदन कैसे करें (How to Apply for Mera Pani – Meri Virasat Yojana in hindi)

दोस्तों हरियाणा सरकार द्वारा जल्द ही इसके लिए वेब पोर्टल (वेबसाइट) लांच कर दी जायेगी , जिसके बाद आप मेरा पानी – मेरी विरासत योजना के अंतर्गत अपना ऑनलाइन फॉर्म रजिस्ट्रेशन कर सकेंगे. सरकार द्वारा जैसे ही वेबसाइट शुरू की जायेगी उसके बाद हमारे द्वारा स्टेप-स्टेप फॉर्म भरने की प्रक्रिया यहाँ पर उपलब्ध करवा दी जायेगी . धन्यवाद

किसानों के लिए मेरी फसल मेरा ब्योरा पोर्टल,पर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवाए प्रक्रिया जानने के लिए यहाँ क्लिक करें

1 COMMENT

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Exit mobile version